Tuesday, May 22, 2007

अब मीडिया नाचेगी आपके इशारों पर

पिछले १६ वर्षों से सीएमएस मीडिया लैब मीडिया पर कड़ी निगाह रखे हुए है। समय-समय पर इस भटकती मीडिया को रास्ता भी दिखाता रहा है।

ऐसा देखा गया है कि आम जनता मीडिया के क्रियाकलापों से अच्छी तरह से वाकिफ़ नहीं है। चूँकि मीडिया प्रत्येक व्यक्ति के आचार-विचार-व्यवहार को प्रभावित करता है, इसलिए मीडिया सही रास्ते पर चले, यह अपरिहार्य आवश्यकता बन जाती है। यह ज़रूरी हो जाता है कि लोकतंत्र के चौथे स्तम्भ को कम से कम जनता ही चलाए। इसमें राजनैतिक हस्तक्षेप कम हों। क्या दिखाया जाना ज़रूरी है, क्या गैरज़रूरी, यह जनता ख़ुद तय करे।

इसलिए हम यह सार्थक पहल करने जा रहे हैं। हम आपके समक्ष प्रत्येक सप्ताह मीडिया कवरेज़ पर अपना विश्लेषण लेकर उपस्थित होने वाले हैं। हम अब केवल यह बताएँगें कि मीडिया क्या कर रहा है, दिशा निर्देश आप देंगे। हम मात्र यह बताएंगे कि क्रिकेट पर इतना टाइम दिया गया, आप तय करेंगे कि और कौन-कौन से खेलों पर कवरेज़ ज़रूरी है। हम सिर्फ़ यह बताएँगे कि फलाँ ख़बर पिछले हफ़्ते एक्सक्ल्यूसीव ख़बर थी, अब आपको सोचना है कि क्या उसे ही एक्सक्ल्यूसीव ख़बर होनी चाहिए थी।

इसके लिए हम एक प्रतियोगिता का भी आयोजन करने जा रहे हैं। प्रत्येक माह की शुरूआत में हम समसामयिक मीडिया आचरण पर आपका विश्लेषण आमंत्रित करेंगे जोकि मौज़ूदा मीडिया का समीक्षा होगा। हमारे साप्ताहिक विश्लेषण इस काम के लिए आपका कच्चा माल होंगे।

१) प्रत्येक प्रतिभागी हिन्दी या अंग्रेज़ी में से किसी भी भाषा में या दोनों भाषाओं में अपना विश्लेषण लिखकर cmsmedialab@gmail.com पर प्रेषित करेगा।

( विश्लेषण का माध्यम कोई भी विधा हो सकती है- कहानी, कविता, निबंध, रिपोर्ट, आलोचना इत्यादि।)

२) हिन्दी की प्रविष्टियों को यूनिकोड में टंकित होना आवश्यक है।

३) प्रविष्टियाँ मौलिक हों।

४) अधिकतम शब्द सीमा ४०० है।

५) प्रत्येक माह ४ सर्वश्रेष्ठ प्रविष्टियों के लेखकों को सीएमएम मीडिया लैब द्वारा पुरस्कृत किया जायेगा और उनकी प्रविष्टियों को महीने के अलग-अलग दिनों पर प्रकाशित किया जायेगा।

६) माह की सर्वश्रेष्ठ प्रविष्टि का पुरस्कार भी दिया जायेगा।

७) इस प्रतियोगिता का आयोजन जुलाई माह के प्रथम सप्ताह से आरम्भ होगा।

८) साल भर के पुरस्कृत विश्लेषणों को मीडिया के वरिष्ठ विश्लेषकों के समक्ष रखकर सीएमएस मीडिया विश्लेषक चुना जाएगा और पुरस्कार दिया जायेगा।

तो बस गड़ाएँ रहिए नज़रें मीडिया पर, क्योंकि देश को इसकी ज़रूरत है।

1 comment:

Pramendra Pratap Singh said...

अच्छी पहल है। बधाई